*निगम के कार्यप्रणाली से सत्ता पक्ष के पार्षद भी असंतुष्ट, नहीं मिल पा रहा शहर के लोगों को न्याय, महापौर इवेंटबाजी में मस्त केवल कागजों में विकास :- योगेश शर्मा*

धमतरीं/सात सूत्रीय मांगों को लेकर स्वतंत्र पार्षदों के द्वारा महापौर को ज्ञापन सौपा गया है. जिसमें ब्राह्मण पारा वार्ड के भारतीय जनता पार्टी से निर्वाचित पार्षद कोमल सार्वा के आलावा भाजपा समर्थित कुछ पार्षदो के उक्त मांग पत्र में हस्ताक्षर होने पर इसे कांग्रेस के शहर ब्लॉक अध्यक्ष योगेश शर्मा ने निगम प्रशासन एवं महापौर की कार्य प्रणाली पर गंभीर सवाल उठाएं. आगे कहां की शहर के विभिन्न वार्डो से संबंधित सात सूत्रीय मांगों को लेकर महापौर के नाम स्वतंत्र पार्षदों के द्वारा ज्ञापन सौपा गया है. जिसमें सत्ता दल के पार्षद एवं स्वतंत्र रूप से निर्वाचित होकर भाजपा समर्थित पार्षदों का उक्त ज्ञापन पत्र में हस्ताक्षर है. जिसमें शहर के विभिन्न मूलभूत सुविधाओ के आलावा छोटी-छोटी समस्याओं के निराकरण नहीं होने का आरोप लगाया गया है. इससे स्पष्ट है कि महापौर जी केवल इवेंट बाजी में व्यस्त है. सुशासन की बातें मात्र जुमला साबित हो रहीं है. शहरी जनता के साथ उनके दल से निर्वाचित पार्षदों को भी स्वतंत्र पार्षदों के साथ ज्ञापन सौंपना पड़ रहा है. महापौर न ही अपने दल के पार्षदों को संभाल पा रहे हैं. और ना ही निगम को संभाल पा रहे हैं. आज शहर की जनता को हर छोटी-छोटी समस्याओं के लिए नगर निगम के सैकड़ो चक्कर काटने में मजबूर होना पड़ रहा है. ना समय पर राशन कार्ड बन रहे हैं. ना गरीब परिवारों के आवास के लिए पैसा आ रहा है. लगभग 6 माह के कार्यकाल में पार्षद निधि का एक भी टेंडर जारी नहीं हो पाया है. ना निगम के पास कोई योजना है ना शासन के पास पैसा है. फिर भी हमारे माननीय महापौर के द्वारा रोज-रोज घोषणा करके क्षेत्र की जनता को विकास के नाम पर झूठा सपना दिखाया जा रहा है. केंद्र से निकाय तक ट्रिपल इंजन की सरकार मे आज हर कोई प्रताड़ित है. लोक लुभावन योजनाओं, सांप्रदायिक भावनाओं से सत्ता हासिल करने वाले भारतीय जनता पार्टी के नीतियों से उनके ही दल के ही पार्षदों ने आवाज उठाना प्रारंभ कर दिया है. अब जनता भी अपने अधिकार और हक की लड़ाई के लिए सड़को मे निकलने तैयार है. तानाशाह नीतियों का अंत बहुत जल्द सुनिश्चित है. क्योंकि जनता झूठी सपने और झूठी आश्वासनों से त्रस्त है.